बच्चों द्वारा लिखी कहानियों की पुस्तक ‘एक बार की बात’ का विमोचन बाप न्यूज | दूसरा दशक द्वारा संचालित पुस्तकालय कार्यक्रम के तहत विद्यार्...
बच्चों द्वारा लिखी कहानियों की पुस्तक ‘एक बार की बात’ का विमोचन
बाप न्यूज | दूसरा दशक द्वारा संचालित पुस्तकालय कार्यक्रम के तहत विद्यार्थियों द्वारा लिखी कहानियों का संकलन कर उसे एक सुंदर पुस्तक का रूप दिया गया है। बाप राबाउमावि में सौर्य ऊर्जा कंपनी के निदेशक बिभु बिस्वाल, सीईओ विनोद हलगे व नगर पालिका अध्यक्ष लीला देवी पालीवाल द्वारा इस पुस्तक ‘एक बार की बात’ का विमोचन किया गया। बिभु बिस्वाल ने पुस्तक के प्रकाशन को ग्रामीण क्षेत्र के विद्यार्थियों महत्वपूर्ण नवाचार बताया।
उल्लेखनीय है कि पुस्तकालय कार्यक्रम सौर्य
ऊर्जा कंपनी ऑफ़ राजस्थान के वित्तीय सहयोग से संचालित किया जा रहा है। पुस्तक विमोचन
के अवसर पर कंपनी सचिव उज्जवला यादव, मनोज व्यास, दीपाक्षी, शिक्षक, छात्र, जनप्रतिनिधि
और समुदाय के लोग उपस्थित थे।
विमोचित पुस्तक में कहानियां लिखने वाले
घटोर विद्यालय के विद्यार्थी फिरोज व रऊफ तथा बाप बालिका विद्यालय की किरण पंवार ने
पुस्तकालय कार्यक्रम की गतिविधियों से जुड़ने से स्वयं में आए बदलाव की जानकारी दी।
भामाशाह जगदीश पालीवाल व सामाजिक कार्यकर्ता
अखेराज खत्री ने दूसरा दशक के कार्यों की सराहना करते हुए कंपनी पदाधिकारियों से ऐसे
रचनात्मक व शैक्षिक कार्यों में निरंतर सहयोग करते रहने का आग्रह किया।
दूसरा दशक परियोजना निदेशक मुरारीलाल थानवी
ने कहा कि बच्चों द्वारा लिखी कहानियां रचनात्मकता, सोचने की क्षमता और लेखन के प्रति
उत्साह को दर्शाती हैं। थानवी ने कहा कि सौर्य ऊर्जा कंपनी पाई-पाई के हिसाब के साथ
पूरी ईमानदारी, सामाजिक सरोकार की व्यापक सोच और दृढ़इच्छा शक्ति के साथ कार्य कर रही
है। प्रधानाचार्य पप्पुराम गोदारा ने कहा कि इस पुस्तक में विद्यार्थियों ने यह साबित
किया है कि प्रोत्साहन व अवसर मिलने पर रचनात्मकता और कल्पनाशक्ति से विभिन्न नैतिकता
और जीवन से जुड़े मुद्दों के बारे में लिख सकते हैं। पुस्तकालय प्रभारी अणदाराम ने
बताया कि सौर्य ऊर्जा कंपनी के सहयोग से दूसरा दशक द्वारा बाप पंचायत समिति में 7 ग्राम
पंचायतों के 10 उच्च माध्यमिक विद्यालयों में पुस्तकालय कार्यक्रम का संचालन किया जा
रहा है। इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य विद्यार्थियों की हिंदी में पढ़ने, लिखने तथा
बोलने की दक्षता में सुधार करना है।