राजस्व मंत्री चौधरी ने रात भड़ला में रूकने के बाद सुबह सुनी किसानों की समस्याएं बाप न्यूज़ | फलोदी प्रवास पर गुरूवार देर शाम आए राजस्व मंत्री ...
राजस्व मंत्री चौधरी ने रात भड़ला में रूकने के बाद सुबह सुनी किसानों की समस्याएं
बाप न्यूज़ | फलोदी प्रवास पर गुरूवार देर शाम आए राजस्व मंत्री हरीश चौधरी रात में सोलर अब भड़ला में स्थित सौर्य ऊर्जा कंपनी के गेस्ट हाउस में रूके। मंत्री के भड़ला में रूकने की जानकारी मिलने पर शुक्रवार सुबह कस्बे सहित आसपास के लोग बड़ी संख्या में भड़ल पहुंच गए। सुबह राजस्व मंत्री आमजन व किसानों से रूबरू हुए तथा उनकी समस्याओं को सुना इसके बाद करीब 11 बजे मंत्री चौधरी भड़ला से जैसलमेर के लिए रवारा हो गए। भारतीय किसान संघ बाप तहसील अध्यक्ष हनुमान अमराणी, बाप सरपंच संघ अध्यक्ष इमीदेवी सहित जोड़, खिदरत के किसानों ने कुछ दिनो पहले क्षेत्र में लगातार दो रात आए तेज अंधड़ व बरसात से हुए खराबे का सर्वे करवा मुआवजा व बीमा क्लेम दिलाने की मांग प्रमुखता से रखी। राजस्व मंत्री चौधरी ने उपस्थित स्थानीय राजस्व विभाग के अधिकारियों को फसल खराबे की विशेष गिरदावरी करने के निर्देश दिए है। इस दौरान केवीवीएस अध्यक्ष हजारीराम विश्नोई, सोनलपुरा सरपंच भंवरलाल खिलेरी, मोडकिया सरपंच फरसाराम, मौलवी रहमतुल्लाह बाप, नूरदीन भड़ला, हनीफ खां सहित कई लाेग मौजुद थे।
सरपच संघ नेदिया पाच सत्री माग पत्र
>> बाप पंचायत समिति सरपंच संघ अध्यक्ष इमीदेवी ने राजस्व मंत्री चौधरी को बाप तहसील की सभी ग्राम पंचायतों की समस्याओं का सामुहिक पांच सूत्री मांग पत्र सौंपा। सरपंच संघ अध्यक्ष इमीदेवी ने बताया कि क्षेत्र के आवागमन के लिए काफी समय से पुराने बहुत से कच्चे रास्ते खातेदारी व सरकारी जमीनों में से होकर निकल रहे है, लेकिन राजस्व रिकॉर्ड में दर्ज नहीं होने की वजह से ग्रेवल सड़क का निर्माण नहीं करवाया जा सकता। जिससे आमजन को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। मनरेगा योजना का भी उचित क्रियान्वयन नहीं हो पा रहा है। रास्ते संबधी फाइलें विभिन्न ग्राम पंचायतों द्वारा प्रस्ताव मय चैकलिस्ट तैयार कर तहसील कार्यालयबाप में काफी समय से लंबित है। जिसका शीघ्र निस्तारण करवाया जाए।
>> राजस्व गांवो एवं ढाणियों को जोड़़ने वाले बहुत से पुराने कच्चे रास्ते खातेदारी जमीनों में से गुजरते है। किसान रास्ते के लिए अपने हिस्से की जमीन समर्पण करना चाहता है, लेकिन जमीन केसीसी या ऋण की वजह से बैंको में रहन रखी हुई है। रहन मुक्त करवाना किसान के लिए संभव नहीं है। पत्र में पूरे खसरे की बजाय उस खसरे में रास्ते के लिए जमीन को रहन मुक्त करवाया जाए।
>> क्षेत्र में वक्त सेटलमेंट एवं उसके बाद बहुत सी ढाणियां जो प्रत्येक राजस्व ग्राम में अलग अलग जगह सरकारी जमीनों पर बनी हुई है। उक्त ढाणियों को आबादी भूमि में आवंटन करवाई जाए।
>> क्षेत्र कुछ गरीब लोग वर्षो से सरकारी जमीनों पर कब्जा काश्त कर अपना व परिवार का पेट पालते है, जिनमें कई के पास तो खातेदारी भूमि ही नहीं है। कई के पास उनके पिता या दादा के नाम मात्र खातेदारी है, जो भाई बंटवारे में शून्य हो जाती है। किसानों को अपने अपने कब्जे के हिसाब से भूमि आवंटन करवाए।
>> बाप क्षेत्र की भौगोलिक परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए मनरेगा योजना में ग्रेवल सड़क निर्माण तथा आबादी भूमि में इंटरलोकिंग सड़क निर्माण कार्यो की स्वीकृति जारी करवाई जाए।